November 15, 2024
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बीसीआर न्यूज़ (नई दिल्ली): नोटबंदी के बाद कैशलेस भुगतान को प्रोत्साहन देने के उद्देश्य से अब सरकार के भीतर ई-पेमेंट की व्यवस्था की जा रही है। वित्त मंत्रालय ने सभी मंत्रालयों और विभागों से सभी तरह के भुगतान ऑनलाइन करने का निर्देश दिया है। वित्त मंत्रालय ने कहा है कि पांच हजार रुपये से अधिक के सभी भुगतान इलेक्ट्रॉनिक माध्यमों के जरिये किए जाएं।

सरकारी भुगतानों को पूरी तरह डिजिटल माध्यम से करने की मुहिम के तहत ही मंत्रालय ने इलेक्ट्रॉनिक भुगतान की सीमा को भी घटाया है। पहले 10000 रुपये से अधिक के भुगतान ही ऑनलाइन किये जाते थे।

लेकिन अब सरकार ने इसे घटाकर आधा कर दिया है। वित्त मंत्रालय ने अब सभी विभागों व मंत्रालयों को इस नियम को तत्काल प्रभाव से लागू करने को कहा है। मंत्रालय ने कहा है कि सप्लायर, कांट्रैक्टर, गारंटी और संस्थाओं को किये जाने वाले भुगतान ऑनलाइन किए जाएं।

ट्रांजेक्शन शुल्क में राहत

बीते आठ नवंबर को पांच सौ और एक हजार रुपये के नोट बंद करने की घोषणा के बाद सरकार डिजिटल ट्रांजेक्शन को बढ़ावा देने के लिए कई कदम उठा चुकी है। वित्त मंत्रालय ने सरकारी और निजी बैंकों से इलेक्ट्रॉनिक ट्रांजेक्शन पर लगने वाले सभी तरह के शुल्कों से उपभोक्ताओं को राहत देने को कहा है।

बैंकों से डेबिट कार्ड से भुगतान पर ट्रांजेक्शन चार्ज न लेने को कहा है तो परिवहन विभाग ने सभी कार निर्माताओं से नई गाड़ियों में डिजिटल टैग लगाने को कहा गया है ताकि टोल नाकों पर ई-पेमेंट की व्यवस्था लागू की जा सके।

आर्थिक मामलों के सचिव शक्तिकांत दास ने सभी विभागों से बीते महीने ही डिजिटल पेमेंट के तरीके अपनाने को कहा था। सरकारी विभागों, सार्वजनिक उपक्रमों और अन्य सरकारी प्राधिकरणों से इंटरनेट बैंकिंग, यूपीआइ इंटरफेस, कार्ड और आधार पर आधारित भुगतान व्यवस्था को लागू करने को कहा गया था ताकि सभी कर्मचारियों और संबंधित पक्षों को उनकी देय राशि का भुगतान हो सके।

सरकार का मानना है कि उसके कार्यालयों में अगर पूरी तरह डिजिटल पेमेंट की व्यवस्था हो जाती है तो लोगों को भी इसे अपनाने को प्रोत्साहन मिलेगा। वित्त मंत्रालय ने अपने बयान में कहा है कि सरकारी कर्मचारी सरकार के नुमाइंदे हैं और उन्हें ही जनता में इलेक्ट्रॉनिक पेमेंट की भावना को फैलाने के लिए आगे आना होगा।

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