अजय शास्त्री
संपादक, बीसीआर न्यूज़ व बॉलीवुड सिने रिपोर्टर (समाचार पत्र)
नई दिल्ली: किसान नेताओं और केंद्र सरकार के बीच पांचवें दौर की बातचीत (Farmers Government fifth Meeting) खत्म हो गई है. बैठक में यह निर्णय लिया गया है कि 9 दिसंबर को फिर से किसान नेताओं और केंद्र सरकार के बीच वार्ता का दौर चलेगा. किसान अगली मीटिंग में न जाने के मूड में हैं. किसान नेता चर्चा से पहले अब लिखित में जवाब चाहते हैं. वहीं कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर (Narendra Singh Tomar) ने कहा है कि मोदी सरकार (Modi Government) किसानों के हित के लिए प्रतिबद्ध है. MSP पर किसी को शंका नहीं होनी चाहिए.
‘MSP पर चर्चा और शंका करना बेबुनियाद’
किसान संगठनों के साथ बैठक के बाद कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर (Narendra Singh Tomar) ने कहा, MSP पर चर्चा और शंका करना बेबुनियाद है और APMC राज्य सरकार का मामला है. फिर भी किसी के मन में कोई शंका है तो सरकार चर्चा के लिये तैयार है. एपीएमसी और मजबूत हो इसके लिए सरकार को जो करना है वो कर रही है. उन्होंने कहा कि हम चाहते थे कुछ विषयों पर सुझाव हमें मिल जायें मगर बातचीत के दौर में ऐसा नहीं हो सका. हमने किसानों से कहा है कि सरकार किसानों के हित में काम करेगी. मोदी सरकार किसानों के प्रति पूरी तरह प्रतिबद्ध है.
कृषि मंत्री की अपील
सर्दी और कोरोना (Coronavirus) को देखते हुए कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर (Narendra Singh Tomar) ने बैठक के दौरान किसानों से अपील की, ‘किसान आंदोलन (Farmers Protest) में शामिल वरिष्ठ नागरिक और बच्चे धरना स्थल से घर चले जाएं. हम एक और दौर की बैठक के लिए कल भी मिल सकते हैं.’
अगली मीटिंग को लेकर किसान अभी लेंगे फैसला
उधर कृषि सुधार बिलों (Farm Laws) के विरोध में चल रहे किसान आंदोलन (Farmers Protest) को लेकर हुई बैठक के बाद किसानों ने कहा है कि सरकार का जो फैसला हो वह लिखकर भेज दे, इसके बाद किसान अगली मीटिंग के बारे में फैसला करेंगे कि अगली बैठक में आना है या नहीं. कल फिर एक बार ऑल इंडिया किसान नेताओं की बैठक होगी. कल शाम तक किसान तय करके जवाब देंगे कि 9 दिसंबर को जाना है या नहीं. वहीं कुछ किसानों ने यह भी कहा कि अगली मीटिंग में नही आएंगे. अब चर्चा नहीं जवाब चाहिए. किसान नेताओं का कहना है कि 7 या 9 तारीख, ये दो तारीखें बैठक के लिए केंद्र ने दीं थीं अब किसान तय करेंगे कि चर्चा करनी है या जवाब लेना है.
मांग मनवाने पर अड़े किसान
कृषि कानूनों (Farm Laws) के खिलाफ किसान अपनी मांगों पर अड़े हुए हैं. किसान लगातार तीनों कृषि कानूनों को निरस्त करने की मांग कर रहे हैं. किसान कानूनों पर सरकार के साथ हुई बैठक के बाद किसान नेता ने कहा, ‘सरकार ने तीन दिन का समय मांगा है. 9 दिसंबर को सरकार हमें प्रपोजल भेजेगी, उस पर विचार करने के बाद बैठक होगी. 8 तारीख को भारत बंद (Bharat Bandh) जरूर होगा. ये सभी कानून जरूर रद्द करवा कर ही रहेंगे।